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Bharatiya Kisan Union (चढ़ूनी) और संयुक्त संघर्ष पार्टी का बड़ा ऐलान

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admin

Updated At 10 May 2024 at 12:07 AM

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Bharatiya Kisan Union भी नई राजधानी व अलग हाई कोर्ट की मांग के समर्थन में आगे आए 

Haryana News : हरियाणा बनाओ अभियान को आज उस समय बल मिला जब Bharatiya Kisan Union (चढ़ूनी) के अध्यक्ष सरदार गुरनाम सिंह चढ़ूनी, जो संयुक्त संघर्ष पार्टी के संस्थापक व राष्ट्रीय अध्यक्ष भी हैं, ने भी हरियाणा के लिए नई राजधानी व अलग हाई कोर्ट की मांग का समर्थन किया। हरियाणा बनाओ अभियान के संयोजक रणधीर सिंह बधरान ने जानकारी देते हुए बताया कि संस्था की टीम ने गुरनाम सिंह चढ़ूनी के साथ बैठक करके इस मुद्दे पर चर्चा की। सरदार गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने कहा कि ये हरियाणा प्रदेश से जुड़े महत्वपूर्ण मुद्दे हैं व सरकार को इस तरफ जल्द ध्यान देना चाहिए। उन्होंने आश्वासन दिया कि बहुत जल्द वह इस मुद्दे को राज्य स्तर पर उठाएंगे। 

रणधीर सिंह बधरान ने बताया कि इस मुद्दे पर हरियाणा के राजनीतिक नेताओं पर दबाव बनाने के लिए आने वाले दिनों में पूरे प्रदेश में बड़ी सार्वजनिक बैठकें बुलाई जाएंगी जिनमें  समाज के सभी वर्गों से समर्थन प्राप्त किया जाएगा। आज कि बैठक में रवि कांत सैन एडवोकेट, हरमन श्योराण, अमित श्योराण , हरपाल सिंह एडवोकेट भारत भूषण वाल्मीकि एडवोकेट,रितेश गुर्जर एडवोकेट राकेश कटलारी और कई अन्य वकील भी मौजूद थे। 

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नई राजधानी और अलग उच्च न्यायालय की मांग का सामना करना पड़ेगा

रणधीर सिंह बधरान ने बताया कि हरियाणा बनाओ अभियान विभिन्न संसदीय चुनाव के उम्मीदवारों से संपर्क करके उनके समक्ष अपनी बात रख कर समर्थन मांग रहा है जिसके तहत अभी तक वरुण मुलाना, बंतो कटारिया, उदयभान, अध्यक्ष हरियाणा प्रदेश कांग्रेस कमेटी के साथ-साथ सुशील गुप्ता अध्यक्ष आम आदमी पार्टी हरियाणा को ज्ञापन सौंपा जा चुका है। आने वाले दिनों में सभी उम्मीदवारों से समर्थन मांगा जाएगा और यदि कोई उम्मीदवार या राजनीतिक दल हरियाणवी जनता की इन मांगों का विरोध करेगा तो चुनाव में जनता उन्हें सबक सिखाएगी। 

हरियाणा में संसदीय चुनाव के प्रत्येक उम्मीदवार को नई राजधानी और अलग उच्च न्यायालय की मांग का सामना करना पड़ेगा। उनके मुताबिक संस्था पिछले दो वर्षों से वे हरियाणा के सभी निवासियों के व्यापक सार्वजनिक हित में अलग उच्च न्यायालय और हरियाणा की नई राजधानी के निर्माण के लिए प्रयास कर रही है। आज हरियाणा में सबसे गंभीर समस्या बेरोजगारी है। निराश युवा नशे और अपराध का शिकार हो रहे हैं, आत्महत्या कर रहे हैं या अपनी जान जोखिम में डालकर दूसरे देशों की ओर पलायन कर रहे हैं। केवल सरकारी रिक्तियों पर भर्ती से समस्या का समाधान नहीं हो सकता। इसके लिए रोजगार के नए अवसर तलाशने और पैदा करने होंगे।

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राजधानी के निर्माण से राज्य के अविकसित क्षेत्रों के विकास को मिलेगी नई गति

राज्य की नई राजधानी का निर्माण इस समस्या के समाधान में अहम भूमिका निभाएगा। गुरुग्राम की तरह इस नई राजधानी में भी विदेशी और निजी निवेशकों द्वारा अरबों-खरबों रुपये के संभावित निवेश से लाखों विभिन्न प्रकार की नौकरियां पैदा होंगी। उचित स्थान पर आधुनिक राजधानी के निर्माण से राज्य के अविकसित क्षेत्रों के विकास को नई गति मिलेगी और यह राज्य की अर्थव्यवस्था भी मजबूत करने में प्रभावी रूप से सहायक होगा।

अनुमान है कि हरियाणा के 45 लाख से अधिक लोग मुकदमेबाजी में शामिल हैं और अधिकांश वादकारी मामलों के निपटारे में देरी के कारण प्रभावित होते हैं। त्वरित निर्णय के मुद्दे हरियाणा के वादकारियों और अधिवक्ताओं के लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं। इस मुद्दे के समाधान के लिए हरियाणा और पंजाब दोनों राज्यों को अलग-अलग उच्च न्यायालय की आवश्यकता है। मंच की हरियाणा की सीमा के भीतर एक और नई राजधानी की मांग भी उतनी ही महत्वपूर्ण है। इस संबंध में पहले ही प्रधान मंत्री व हरियाणा के मुख्यमंत्री और सभी निर्वाचित विधायकों को पत्र भेज दिया है।

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